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सिटीजन रिपोर्टर
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दिनांक 17 सितम्बर को कृषि विज्ञान केन्द्र, सिरिस, औरंगाबाद के परिसर में कृषि विज्ञान केन्द्र एवं इफको के समन्वय से पोषण अभियान एवं पौधरोपण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्घाटन श्री रणवीर सिंह, जिला कृषि पदाधिकारी, औरंगाबाद, डॉ नित्यानंद, वरीय वैज्ञानिक एवं प्रधान कृषि विज्ञान केन्द्र, सिरिस, औरंगाबाद, श्री अमित जी, इफको के क्षेत्रीय प्रबंधक एवं श्रीमती आशा सिंह, बाल बिकास परियोजना पदाधिकारी, बारुण ने संयुक्त रूप से किया।
Image: किसानों को संबोधित करते हुए डॉ नित्यानंद
इस मौके पर कृषि विज्ञान केंद्र के वरीय वैज्ञानिक एवं प्रधान डॉ नित्यानंद ने मानव जीवन में पोषण तत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि पोषण का हमारे जीवन में बहुत बड़ा महत्व है और इसे हम प्रत्येक दिन अपनी छोटी बड़ी सावधानियों से सुधार कर सकते हैं। पोषण को लेकर लोगों को खानपान के साथ-साथ अपने खेतो एवं बगीचों में पोषण तत्व से संबंधित अनाज, सब्जी एवं फलों को लगाना चाहिए। उन्होंने बताया कि बाकी भोजनों के साथ-साथ मोटे अनाज का भी हमारे जीवन काल में बहुत बड़ा महत्व है। इसमें मडुआ, बाजरा, कोदो, चिन्ना, मक्का का खासा महत्व है और इसे भी अपने भोजन में हर हाल में शामिल करना चाहिये। उन्होंने बताया कि इसमें कैल्शियम आयरन जिंक एवं एंटीऑक्सीडेंट समेत कई महत्वपूर्ण पोषक तत्व मौजूद हैं जो हमारे शरीर के लिए काफी लाभदायक हैं।
Image: कार्यक्रम में उपस्थित आंगनवाड़ी सेविका व किसान
वही भोजन में अंकुरित अनाज ,सोयाबीन, तील ,तीसी, सलाद एवं हरी सब्जियों का प्रचुर मात्रा में प्रयोग करना आवश्यक है। साथ ही सभी को अपने घरो के बगल में खली पड़े हुए स्थानों में मौसमी सब्जियों को अवश्य ही लगाना चाहिए जिससे स्वस्थ एवं ताजा सब्जिया हमेशा मिलती रहे।
इस मौके पर कार्यक्रम को संबोधित करते श्री रणवीर सिंह, जिला कृषि पदाधिकारी ने कहा कि कृषि विज्ञान केंद्र के माध्यम से लगातार लोगों के लिए कार्य किया जा रहा है और खासकर खेती एवं साग सब्जियों पर विशेष तौर पर जानकारी दी जा रही है। उन्होंने बताया कि बाद में स्वस्थ समाज का निर्माण होगा इसलिए आवश्यक है कि पोषण से संबंधित महिलाओं को जानकारी के साथ-साथ जागरूक करना प्रशंसनीय कार्य है।
श्री अमित जी ने इफको के नैनो यूरिया के साथ साथ अन्य उर्वरको के बारे में विधिवत जानकारी दी साथ ही फसलों, सब्जियों तथा फलदार वृक्ष में उर्वरक के संतुलित मात्रा के प्रयोग के बारे में विस्तृत जानकारी दी।
इस मौके पर श्रीमती आशा सिंह ने बताया कि जिले के प्रत्येक आंगनबाड़ी केंद्र पर पोषण जागरूकता अभियान आयोजित किया जाएगा जिसमें पोषण वाटिका से संबंधित विशेष जानकारी महिलाओं को दी जाएगी ताकि वह अपने जीवन काल में इसका उपयोग कर सकें।
इस मौके पर श्री पंकज कुमार सिन्हा ने धान की फसल मे पोषक तत्व प्रबंधन तथा इससे होने वाले लाभों के बारे मे विधिवत जानकारी दी।
इंजीनियर रवि रंजन कुमार ने किसानों को फार्म मशीनरीकरण की विधिवत जानकारी दी तथा उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि अब बिना मशीनीकरण के खेती संभव नही है।
डॉ सुनीता कुमारी ने किसानों को अपने दैनिक खाद्य पदार्थों में मशरूम को शामिल करने की सलाह दी जिससे उन्हें कुपोषण से छुटकारा मिल सके। इसके साथ ही उन्होंने किसानों को मशरूम उत्पादन के बारे में भी विधिवत जानकारी दी।
डॉ संगीता मेहता ने सब्जियों के पौधशाला तैयार करने की तकनीक तथा इनके रोपाई की तकनीक की जानकरी दी जिससे सब्जियों के उत्पादन करके अपने आहार में पोषण युक्त सब्जियों को सम्मीमिलि किया जा सके। साथ ही उन्होंने कुपोषण को कैसे दूर किया जा सकता है इसके बारे में भी बताया।
कृषि मौसम वैज्ञानिक डॉ अनूप कुमार चौबे ने किसानों को मौसम पूर्वनुमान के बारे में विधिवत जानकारी दी जिससे किसानो को आगे आने वाले पाँच दिनों की मौसम की जानकारी के साथ साथ खेती की सम्पूर्ण जानकारी हर समय उनको मिलती रहे।
कार्यक्रम में आये हुए आंगनबाड़ी सेविकाएं, महिला किसान एवं किसान भाइयों के बीच पोषण पर जोर देते हुए पोषकीय फलदार वृक्षों का भी वितरण किया गया।
इस मौके पर अतिथि व कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिकों द्वारा केन्द्र परिसर में वृक्षारोपण किया गया। साथ ही पोषण हेतु पोषण वाटिका स्थापित करने के लिए पोषकीय सब्जियों की बीज किट उपलब्ध कराये गये। इस मौके पर केंद्र के सभी कर्मचारी, केंद्र में आए हुए रावे के छात्र एवं 304 आंगनबाड़ी सेविका, महिला किसान एवं किसानों ने भाग लिया।
Source: Aurangabad Now